70th Independence Day
नमस्कार पाठको,
एक खुशनुमा सुबह के साथ आज़ादी के 70 वर्ष होने पर ज़िंदगी UNPLUGGED के सभी पाठको को स्वतंत्रता
दिवस की हार्दिक शुभकामनायें ।
आज़ादी, स्वतंत्रता इन सब के मायने बहुत बड़े हैं, हम शायद चाह कर भी
उन परतंत्रता की भावना को महसूस नहीं कर सकते । वो आज़ादी की लड़ाई, वो आंदोलन
सबकुछ बहुत गहरा भाव हैं । उन्होने जो भी कुछ किया हैं सब कुछ बहुत बड़ा हैं, आज हम जीतने स्वतंत्र हैं वो कहीं न कहीं उनकी कुर्बानी और शहादत का फल हैं
, ऐसे वीरों को नमन हैं और धन्य हैं हम, की ऐसे माटी के लाल हमे मिले ....
और ज्यादा इस भाव मे कुछ नहीं कहूँगा आप सब भलीभाँति जानते हैं । बस यही कहना चाहूँगा
की उनकी आजादी को हमेशा याद रखें, वो
याद रखे जो उन्होने हमारे लिए किया हैं ।
इसी संदर्भ मे एक 4 लाइनें प्रस्तुत हैं , उम्मीद करता हूँ आपको पसंद आएगी ।
मत भूलो तुम वो आज़ादी की बातें
भले बीत गई वो शहादत की रातें
मरे थे सैकड़ो, हजारों, लाखो की तादाद में
सर नहीं झुकाय, लेकिन कटा लिए वे भी बड़े शान से
न आज की फिक्र थी, न कल की चिंता
बस आंखो मे थी आज़ादी और था देशप्रेम बहुत
गुजरे थे वो कुछ-एक पल भी अजीब से
लटक लिए वे माँ के सामने फांसी पे बड़े अभिमान
से
बहे थे लहू पानी बनकर, गिरे थे सिर आंधी बनकर
चली थी लठियाँ फुहार बन कर और सह
लिए वो भी पत्थर बनकर
खून के बदले आज़ादी और हिंसा के बदले अहिंसा दी थी हमने
वो शोला बन कर उभरे थे हमारे आज़ादी
की अंगारे
हार गए वो भी हमारी बहादुरी देखकर
लौटा दी आज़ादी, हमारी शहादत लेकर
भले पा ली आज़ादी हमने
लेकिन खो दिये हजारों माटी के लाल हमने
मत भूलो तुम वो आज़ादी की बाते !!!
मत भूलो तुम वो आज़ादी की बाते !!!
Written By- प्रेम
नारायण साहू
बस अंत मे अपने तरफ से बस यही कहना चाहूँगा की “मानवता”(HUMANITY) अपने अंदर ले आइये देश स्वत:
ही आगे बढ़ जाएगा ।
एक बेहतर कल के निर्माण के साथ और नई उम्मीद के साथ ,
जय हिन्द, वंदे मातरम !
ज़िंदगी Unplugged (प्रेम नारायण साहू)
#nyc bro
ReplyDeleteThank- you
DeleteNice one...Ek no. Likha hai bhai......
ReplyDeleteThank-You
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